Class 10 - हमारा पर्यावरण के प्रश्न एवं उत्तर
अभ्यास प्रश्न 1:
पोषी स्तर क्या हैं? एक आहार शृंखला का उदाहरण दीजिए तथा इसमें विभिन्न पोषी स्तर बताइए।
उत्तर : आहार श्रृंखला के प्रत्येक चरण को पोषी स्तर कहते हैं।
उदाहरण – घास → हिरण → बाघ
i) उपरोक्त आहार श्रृंखला में प्रथम पोषी स्तर घास है, जो उत्पादक है।
ii) द्वितीयक पोषी स्तर हिरण है, जो शाकाहारी जंतु है।
iii) सर्वोच्च पोषी स्तर (तृतीय पोषी स्तर) बाघ है, जो उच्च माँसाहारी है।
अभ्यास प्रश्न 2:
परितंत्र में अपमार्जकों की क्या भूमिका है?
उत्तर : अपमार्जकों को पृथ्वी का सफाई एजेंट के नाम से भी जाना जाता है। यह पृथ्वी पर उपस्थित सड़े-गले पदार्थों या मृत जीवों के शरीर को अपघटित कर सरल पदार्थों में बदल देते हैं जिससे पर्यावरण कम प्रदूषित होता है तथा पर्यावरण में संतुलन बना रहता है।
अभ्यास प्रश्न 3:
क्या कारण है कि कुछ पदार्थ जैव निम्नीकरणीय होते हैं और कुछ अजैव निम्नीकरणीय ?
उत्तर : इस पर्यावरण में विभिन्न प्रकार के सूक्ष्मजीव जैसे- जीवाणु, कवक आदि पाए जाते हैं जिनका कार्य विशेष होता है। ये सूक्ष्मजीव प्राकृतिक पदार्थों जैसे मृत जंतु एवं पेड़-पौधे के अपशिष्ट को एंजाइम की सहायता से अपघटित कर देते हैं। जबकि मानव के द्वारा बनायी गई प्लास्टिक, शीशा आदि को अपघटित नहीं कर पाते हैं। इनके इन्हीं लक्षणों के कारण कुछ पदार्थ जैव निम्नीकरणीय तथा कुछ अजैव निम्नीकरणीय होते हैं।
अभ्यास प्रश्न 4:
ऐसे दो तरीके समझाइए जिसमें जैव निम्नीकरणीय पदार्थ पर्यावरण को प्रभावित करते हैं।
उत्तर : ऐसे दो तरीके निम्नलिखित हैं जिसमें जैव निम्नीकरणीय पदार्थ पर्यावरण को प्रभावित करते हैं –
i) जैव निम्नीकरणीय पदार्थों के अपघटन के समय दुर्गंध एवं हानिकारक गैसें निकलती हैं, जिससे वायु प्रदूषित हो जाती है।
ii) इन पदार्थों के अपघटन के साथ विभिन्न प्रकार के रोगाणु पनपते हैं, जो विभिन्न प्रकार की बीमारियाँ उत्पन्न करते हैं।
अभ्यास प्रश्न 5:
ऐसे दो तरीके बताइए जिनमें अजैव निम्नीकरणीय पदार्थ पर्यावरण को प्रभावित करते हैं।
उत्तर : ऐसे दो तरीके निम्नलिखित हैं जिनमें अजैव निम्नीकरणीय पदार्थ पर्यावरण को प्रभावित करते हैं –
i) अजैव निम्नीकरणीय जैसे D.D.T तथा अन्य कीटनाशी रसायन खाद्य श्रृंखला के माध्यम से मानव में विभिन्न प्रकार के रोग उत्पन्न करते हैं।
ii) ये पदार्थ जैसे शीशा, प्लास्टिक वातावरण में मिलकर पारितंत्र के संतुलन को बिगाड़ देते हैं।
iii) अजैव निम्नीकरणीय पदार्थ जैसे उर्वरक के अत्यधिक उपयोग से मृदा बंजर बन जाती है, जिससे उत्पादकता घट जाती है।
अभ्यास प्रश्न 6:
ओजोन क्या है ? यह किस प्रकार पारितंत्र को प्रभावित करती है?
उत्तर : ओजोन ऑक्सीजन का एक यौगिक है। ओजोन के एक अणु में तीन ऑक्सीजन परमाणु (O3) होते हैं। ओजोन की परत पृथ्वी की सतह से लगभग 30 से 60 किलोमीटर की दूरी पर पाई जाती है और एक आवरण का निर्माण करती है।
यह सूर्य से आने वाली हानिकारक पराबैंगनी किरणों को पृथ्वी की सतह पर आने से रोकती है एवं विभिन्न प्रकार के रोगों जैसे - त्वचा कैंसर, मोतियाबिंद आदि से बचाती है। इस प्रकार यह किसी पारितंत्र को नष्ट नहीं करती है।
अभ्यास प्रश्न 7:
आप कचरा निपटान की समस्या कम करने में क्या योगदान कर सकते हैं? किन्हीं दो तरीकों का वर्णन कीजिए।
उत्तर :
i) भस्मीकरण : अस्पतालों से निकले हुए कूड़े-कचरे को जलाकर इनकी मात्रा को कम करना।
ii) कम्पोस्ट बनाना : फलों के छिलके, पेड़-पौधों की पत्तियों आदि को खाद में बदला जा सकता है।
iii) 5R का उपयोग कर कचरे की मात्रा को कम कर सकते हैं।
iv) भूमि भराव : ईंट के टुकड़े, कंकड़ आदि को भूमि में दबाकर इनकी मात्रा को कम कर सकते हैं।
अभ्यास प्रश्न 1:
निम्न में से कौन-से समूहों में केवल जैव निम्नीकरणीय पदार्थ हैं-
(a) घास, पुष्प तथा चमड़ा | (b) घास, लकड़ी तथा प्लास्टिक |
(c) फलों के छिलके, केक एवं नींबू का रस | (d) केक, लकड़ी एवं घास |
उत्तर : (a) घास, पुष्प तथा चमड़ा |
अभ्यास प्रश्न 2:
निम्न में कौन आहार शृंखला का निर्माण करते हैं-
(a) घास, गेहूँ तथा आम | (b) घास, बकरी तथा मानव |
(c) बकरी, गाय तथा हाथी | (d) घास, मछली तथा बकरी |
उत्तर : (b) घास, बकरी तथा मानव |
अभ्यास प्रश्न 3:
निम्न में से कौन पर्यावरण-मित्र व्यवहार कहलाते हैं-
(a) बाजार जाते समय सामान के लिए कपड़े का थैला ले जाना |
(b) कार्य समाप्त हो जाने पर लाइट ( बल्ब ) तथा पंखे का स्विच बंद करना |
(c) माँ द्वारा स्कूटर से विद्यालय छोड़ने के बजाय तुम्हारा विद्यालय तक पैदल जाना|
(d) उपरोक्त सभी |
उत्तर : (d) उपरोक्त सभी |
अभ्यास प्रश्न 4:
क्या होगा यदि हम एक पोषी स्तर के सभी जीवों को समाप्त कर दें (मार डालें)?
उत्तर : यदि हम एक पोषी स्तर के सभी जीवों को मार डालें तो निम्नलिखित परिणाम हो सकते हैं –
i) अगली पोषी स्तर में ऊर्जा का प्रवाह रुक जाएगा जिसके कारण उस पोषी स्तर के सभी जीव भूखे मर जाएंगे।
ii) उससे पहले वाले पोषी स्तर में जीवों की जनसंख्या अत्यधिक बढ़ जाएगी।
iii) अंततः पारितंत्र में असंतुलन उत्पन्न हो जाएगा।
अभ्यास प्रश्न 5:
क्या किसी पोषी स्तर के सभी सदस्यों को हटाने का प्रभाव भिन्न-भिन्न पोषी स्तरों के लिए अलग-अलग होगा? किसी पोषी स्तर के जीवों को पारितंत्र को प्रभावित किए बिना हटाना संभव है?
उत्तर : हां, किसी पोषी स्तर के सभी सदस्यों को हटाने का प्रभाव भिन्न-भिन्न पोषी स्तर के लिए अलग-अलग होगा क्योंकि भिन्न-भिन्न पोषी स्तर के जीव एक दूसरे पर निर्भर रहते हैं, जिससे पारितंत्र में संतुलन बना रहता है।
पारितंत्र को प्रभावित किए बिना किसी पोषी स्तर के सभी जीवों को हटाना संभव नहीं है। उदाहरण - यदि उत्पादक नहीं रहेंगे, तो शाकाहारी जीव भी नहीं रहेंगे; शाकाहारी नहीं रहने पर मांसाहारी भी नहीं रहेंगे, और इस प्रकार पर्यावरण का संतुलन बिगड़ जाएगा।
अभ्यास प्रश्न 6:
जैव आवर्धन क्या है? क्या पारितंत्र के विभिन्न स्तरों पर जैविक आवर्धन का प्रभाव भी भिन्न-भिन्न होगा?
उत्तर : जब हानिकारक रसायन किसी खाद्य श्रृंखला में प्रवेश करती है, तो इनकी मात्रा प्रत्येक पोषी स्तर में बढ़ती चली जाती है। इस घटनाक्रम को जैविक आवर्धन कहा जाता है।
अलग-अलग पोषी स्तर में जैविक आवर्धन का स्तर भिन्न-भिन्न होगा। प्रथम पोषी स्तर पर जैविक आवर्धन कम होगा जबकि सर्वोच्च पोषी स्तर पर जैविक आवर्धन सबसे अधिक होगा।
अभ्यास प्रश्न 7:
हमारे द्वारा उत्पादित अजैव निम्नीकरणीय कचरे से कौन-सी समस्याएँ उत्पन्न होती हैं?
उत्तर : हमारे द्वारा उत्पादित अजैव निम्नीकरणीय कचरे से निम्नलिखित समस्याएं उत्पन्न होती हैं –
i) प्लास्टिक, काँच आदि जैसे जैव अनिम्नीकरणीय कचरे नालियों में अवरोध उत्पन्न करते हैं, जिससे जल जमाव होता है एवं गंभीर बीमारियाँ उत्पन्न होती हैं।
ii) इन कचरों को खुले में जलाने से विषैली गैसे निकलती हैं, जो वायु प्रदूषण फैलाती हैं।
iii) पीड़कनाशी एवं रासायनिक पदार्थों की सांद्रता फसलों में बढ़ जाती है, जो मानव स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।
iv) प्लास्टिक आदि कचरे जीव-जंतुओं द्वारा खा लिए जाने पर उनके लिए घातक सिद्ध होते हैं।
v) जल में मिलने से जलीय जीवों पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है।
अभ्यास प्रश्न 8:
यदि हमारे द्वारा उत्पादित सारा कचरा जैव निम्नीकरणीय हो तो क्या इनका हमारे पर्यावरण पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा?
उत्तर : यदि हमारे द्वारा उत्पादित कचरा जैव निम्नीकरणीय होगा, तो भी इसका पर्यावरण पर प्रभाव पड़ेगा क्योंकि –
i) जैव निम्नीकरणीय कचरे का अपघटन धीमी गति से होता है जिससे दुर्गंध और हानिकारक गैसे निकलती हैं।
ii) अपघटन प्रक्रिया के दौरान हानिकारक रोगाणु उत्पन्न हो सकते हैं, जिससे बीमारी फैलने का खतरा रहता है।
iii) यदि अपघटन धीमा होगा तो कचरा जमा होता रहेगा जिससे भूमि और जल प्रदूषण की स्थिति बन सकती है।
अभ्यास प्रश्न 9:
ओजोन परत की क्षति हमारे लिए चिंता का विषय क्यों है? इस क्षति को सीमित करने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं?
उत्तर : ओजोन परत सूर्य से आने वाली हानिकारक पराबैंगनी किरणों को पृथ्वी की सतह तक पहुँचने से रोकती है एवं त्वचा कैंसर, मोतियाबिंद जैसे रोगों से बचाती है। अतः इसकी क्षति चिंता का विषय है।
ओजोन परत की क्षति का प्रमुख कारण मनुष्यों द्वारा CFC (क्लोरो-फ्लोरो-कार्बन) गैसों का अत्यधिक उपयोग है।
इस क्षति को सीमित करने हेतु 1987 में संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) द्वारा मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल की घोषणा की गई, जिसमें CFC के उपयोग को घटाने के प्रयास किए गए।